नई दिल्ली
भाजपा ने कोलकाता के आरजी कर मेडिकल कॉलेज में हुई डॉक्टर की हत्या और दुष्कर्म के मामले में बंगाल की ममता बनर्जी सरकार पर तीखा हमला बोला। भाजपा ने आरोप लगाया कि बंगाल में अपराधियों को बचाया जा रहा है। साथ ही भाजपा ने घटनास्थल के पास ही मरम्मत कार्य शुरू होने पर भी राज्य सरकार पर गंभीर आरोप लगाए और दावा किया कि सबूतों को मिटाने और उनसे छेड़छाड़ करने के उद्देश्य से मरम्मत कार्य शुरू कराया गया है।
सीबीआई जांच में देरी पर उठाए सवाल
भाजपा ने सीबीआई को जांच सौंपने में देरी को लेकर भी ममता बनर्जी पर निशाना साधा। भाजपा प्रवक्ता गौरव भाटिया ने एक प्रेस कॉन्फ्रेंस कर कहा कि ”मीडिया रिपोर्ट्स और हाईकोर्ट का फैसला पढ़ने के बाद ऐसा लगता है कि ममता बनर्जी किसी को बचाने की कोशिश कर रही हैं। उन्हें इसका जवाब देना होगा…पहले 48 घंटे सबूत इकट्ठे करने के लिहाज से बेहद अहम थे और ममता बनर्जी ने बयान दिया कि वह इस मामले को कुछ दिनों बाद सीबीआई को सौंपेंगी। ऐसे में सवाल उठता है कि ऐसा क्यों किया गया? अगर यह मामला जल्द सीबीआई को सौंप दिया जाता तो वे निष्पक्ष जांच करती और क्राइम सीन को भी सुरक्षित रखती।’
गौरव भाटिया ने कहा कि ‘हत्याकांड के बाद 48 घंटे जांच के लिहाज से बेहद अहम थे, लेकिन आपने (ममता बनर्जी) सीबीआई को जांच सौंपने में देरी की।’ साथ ही घटनास्थल के नजदीक मरम्मत कार्य शुरू होने पर भी भाजपा ने निशाना साधा और राज्य सरकार पर अपराधियों को बचाने का आरोप लगाया। भाजपा ने कोलकाता में महिला डॉक्टर की हत्या और दुष्कर्म की घटना को दिल्ली के निर्भया कांड से तुलना करते हुए इसे निर्भया कांड 2 करार दिया। भाजपा ने इस हत्याकांड को लेकर सीएम ममता बनर्जी से इस्तीफा देने की मांग की और कहा कि जब तक ममता बनर्जी सीएम पद पर रहेंगी तो राज्य की कोई भी महिला खुद को सुरक्षित महसूस नहीं करेगी।
प्रिंसीपल के इस्तीफे पर भी उठाए सवाल
भाजपा प्रवक्ता ने ये भी कहा कि दावा किया जा रहा है कि पीड़िता के साथ सामूहिक दुष्कर्म होने की आशंका है, लेकिन कोलकाता पुलिस ने सामूहिक दुष्कर्म की आशंका से साफ इनकार कर दिया है और सिर्फ एक आरोपी को पकड़ा है। भाजपा प्रवक्ता ने कहा कि तो क्या ऐसा मान लेना चाहिए कि मामले की जांच समाप्त हो गई है? भाजपा ने आरजी कर मेडिकल कॉलेज के प्रिंसीपल के इस्तीफे पर भी सवाल उठाए और कहा कि क्या उन्हें प्रदर्शन कर रहे छात्रों का समर्थन नहीं करना चाहिए था। सरकार ने उन्हें इस्तीफे के बाद नई नियुक्ति दे दी है, लेकिन हाईकोर्ट ने इसे लेकर सरकार को फटकार लगाई है और उन्हें छुट्टी पर भेजने का निर्देश दिया है।