मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने कहा कि यह नए भारत का नया उत्तर प्रदेश है। जहां किसानों का सम्मान होता है। उनके परिश्रम व पुरुषार्थ के सामने शासन नतमस्तक होकर सम्मान देता है। आपका परिश्रम व पुरुषार्थ न केवल यूपी का सम्मान बढ़ा रहा है, बल्कि विकास यात्रा का हिस्सा बनकर यूपी को देश की बड़ी अर्थव्यवस्था के रूप में स्थापित करने में मदद कर रहा है। आपके परिश्रम का परिणाम है कि हमने कृषि विकास की दर को 9 फीसदी तक पहुंचाया है। पीएम के विजन के अनुरूप आने वाले समय में प्रदेश को 2027-28 तक वन ट्रिलियन डॉलर की इकॉनमी बनना है तो वर्तमान की विकास दर को इससे तीन गुना रफ्तार से आगे बढ़ाना होगा।
यह बातें सीएम योगी आदित्यनाथ ने पूर्व प्रधानमंत्री चौधरी चरण सिंह की जयंती पर शनिवार को किसान सम्मान दिवस के अवसर पर लोकभवन में कहीं। सीएम ने यहां किसान मित्र एआई ऐप का शुभारंभ किया और कृषकों, कृषि उद्यमियों, एफपीओ व कृषि वैज्ञानिकों का सम्मान भी किया। कार्यक्रम में लघु फिल्म दिखाई गई। सीएम ने किसानों की यशगाथा विकास यात्रा पुस्तिका का विमोचन भी किया। सीएम ने उत्तर प्रदेश सरकार की ओर से किसानों को दी जा रही सुविधाओं की भी चर्चा की।
चौधरी साहब कहते थे- जब तक किसान गरीब रहेगा, भारत अमीर नहीं हो सकता
सीएम ने कहा कि चौधरी चरण सिंह स्वतंत्रता संग्राम सेनानी, अच्छे प्रशासक व महान किसान नेता थे। उन्होंने स्नातकोत्तर की पढ़ाई लॉ से की थी, लेकिन किसान व कृषि पृष्ठभूमि के कारण उनकी स्पष्ट राय थी। उन्होंने कहा कि जब तक किसान गरीब रहेगा, भारत अमीर नहीं हो सकता। ग्रामीण भारत ही असली भारत है। भारत वर्ष की समृद्धि का मार्ग खेत-खलिहान से होकर गुजरता है। जागरूक जनशक्ति ही सबसे बड़े लोकतंत्र का आधार है। चौधरी चरण सिंह ने अनेक कार्यों के जरिए अपने समय में किसानों के जीवन में बदलाव के अभियान को बढ़ाया था।
पहली बार किसानों ने महसूस किया कि वे किसी सरकार के प्राथमिक एजेंडे का हिस्सा हैं
सीएम योगी ने कहा कि साढ़े 9 वर्ष में हमने बदलते भारत को देखा है। पहली बार अन्नदाता किसानों ने महसूस किया कि वे भी किसी सरकार के प्राथमिक एजेंडे का हिस्सा हैं। पीएम मोदी के नेतृत्व में पीएम किसान फसल बीमा, प्रधानमंत्री कृषि सिंचाई योजना, लागत का डेढ़ गुना दाम एमएसपी, पीएम किसान सम्मान निधि के माध्यम से किसानों के जीवन में परिवर्तन किया गया। अब तक इसकी 15 किस्त किसानों के पास पहुंच चुकी है। सिर्फ य़ूपी में ही 2.61 करोड़ किसानों के खाते में 60 हजार करोड़ से अधिक की राशि पहुंच चुकी है।
सरकार की स्कीम स्वावलंबन का आधार बनती है
सीएम ने कहा कि परिवर्तन व रिफॉर्म करते हुए कृषि को हम लाभकारी बना सकते हैं। इस दिशा में हुए प्रयास यूपी की दृष्टि से 22-23 लाख हेक्टेयर भूमि को सिंचाई की अतिरिक्त सुविधा दी है। गन्ना किसानों को साढ़े छह वर्ष में दो लाख 25 हजार करोड़ से अधिक की राशि खाते में भेज चुके हैं। धान व गेहूं की सीधी खऱीद और एमएसपी का लाभ डीबीटी के माध्यम से पहली बार मिला। उन्होंने कहा कि खेती को सही ढंग से करना घाटे का सौदा नहीं बनेगा। सरकार की स्कीम स्वावलंबन का आधार बनती है। श्रीअन्न की दृष्टि से भी कार्यक्रम हुए। प्राकृतिक खेती में हर मंडी, कृषि विज्ञान केंद्र, विश्वविद्यालयों के सर्टिफिकेशन की कार्रवाई हो, उसका ज्यादा दाम किसानों को प्राप्त हो, इस प्रक्रिया को तेजी से बढ़ाया गया। श्रीअन्न के माध्यम से संयुक्त राष्ट्र वर्ष की दृष्टि से 2023 को मिलेट्स वर्ष घोषित कर पीएम ने अंतरराष्ट्रीय ब्रांडिंग भी की है।
अब स्मार्ट फोन से शांत होगी किसानों की जिज्ञासा
सीएम ने कहा कि अभी हमने एक अप्लीकेशन लांच किया है। ऐप के माध्यम से एआई का उपयोग किसान मित्र के रूप में कैसे किया जा सकता। अब किसानों की हर जिज्ञासा का जवाब स्मार्ट फोन से प्राप्त हो जाएगा। विकसित भारत संकल्प यात्रा चल रही है। कुछ समय बाद दो करोड़ ड्रोन दीदी तैयार होनी है। ड्रोन के माध्यम से अब एक घंटे में सौ एकड़ खेती में दवा, खाद, पेस्टिसाइड का छिड़काव हो सकेगा। उन्होंने कहा कि एफपीओ के क्षेत्र में सामूहिक रूप से मिलकर खेतीबाड़ी व फूड प्रोसेसिंग की प्रक्रिया से जुड़कर भी कई गुना मुनाफा कमा सकते हैं। वेयर हाउस के बारे में सीएम ने कहा कि यदि मार्केट में दाम कम है तो जब दाम अच्छा मिले तो गोदाम से उपज निकालकर उपलब्ध कराएं। इसके लिए एफपीओ के माध्यम से हर विकास खंड स्तर पर वेयर हाउस निर्माण की कार्रवाई को बढ़ाया जा रहा है। अब मनुष्य के साथ धरती मां की सेहत की भी देखभाल होगी। पीएम स्वायल हेल्थ कार्ड इसका उदाहरण है।
हौसलाअफजाई कर सीएम ने सुनाई किसानों की विकासगाथा
सीएम ने कहा कि किसानों ने हौसलाअफजाई करते हुए उनकी विकासगाथा स्वयं सुनाई। बोले कि रायबरेली के वीरेंद्र सिंह ने प्रति हेक्टेयर 88 कुंतल, मोल्हईराम ने 84 कुंतल प्रति हेक्टेयर, अंबेडकर नगर के हरिराम ने 78 कुंतल प्रति हेक्टेयर गेहूं का उत्पादन किया। ललितपुर के सोनू पटेल 46 कुंतल प्रति हेक्टेयर, ललितपुर के ही राजेंद्र सिंह ने 43 कुंतल व मंशा राम ने 42 कुंतल प्रति हेक्टेयर चना का उत्पादन किया। प्रमोद कुमार 55 कुंतल, भरत सिंह पटेल 54 कुंतल व राजा सिंह ने 50 कुंतल प्रति हेक्टेयर मटर में उत्पादन किया। राई में बरेली के राधेश्याम 46 कुंतल प्रति हेक्टेयर, श्रीमती रामबेटी ने 45 कुंतल, विजय कुमार 38 कुंतल प्रति हेक्टेयर का उत्पादन किया। धान में रायबरेली के जयराम सिंह ने 110 कुंतल, शत्रुघ्न लाल यादव ने 105 कुंतल व बद्री प्रसाद ने 95 कुंतल प्रति हेक्टेयर का उत्पादन किया। श्रीअन्न के तहत गोपाल सिंह कानपुर नगर, सूर्यप्रकाश, हमीरपुर के केशव प्रसाद ने बेहतरीन कार्य किया। प्राकृतिक खेती के लिए वाराणसी के हरिशंकर सिंह, बिजनौर के शरद कुमार सिंह, महोबा की कमला त्रिपाठी को सम्मानित किया गया। रामपुर एफपीओ, मीरजापुर के नवचेतना एग्रो प्रोड्यूसर कंपनी व बहराइच की शिवा एफपीसी की सराहना की। औद्यानिक खेती में रायबरेली के छोटेलाल मौर्य, बाराबंकी के अमरेंद्र प्रताप सिंह, इटावा के रामकरण तिवारी की सराहना की। सीएम ने पराली प्रबंधन के लिए अच्छा कार्य करने वाले अधिकारियों को भी सम्मान किया गया। सीएम ने कहा कि सफलतम किसानों के अनुभव का लाभ अन्य किसानों को दिया जाना चाहिए।